Cow Subsidy Scheme: हरियाणा सरकार ने किसानों की आर्थिक उन्नति और खेती की उपजाऊ शक्ति को बढ़ाने के लिए कई योजनाएं लागू की हैं। सरकार का मानना है कि प्राकृतिक खेती न केवल जमीन को स्वास्थ्य बढ़ाएगी, बल्कि किसानों को भी आर्थिक रूप से समृद्ध करने में मदद करेगी। प्राकृतिक खेती की ओर ध्यान देते हुए सरकार ने कई प्रोत्साहन और सब्सिडी भी शुरू की हैं।
जींद जिले के किसानों के लिए विशेष प्रशिक्षण शिविर
जींद जिले की उचाना अनाज मंडी में आत्मा योजना के तहत एक विशेष प्रशिक्षण शिविर का आयोजन किया गया, जिसमें मुख्य रूप से अनुसूचित जाति के किसानों को आमंत्रित किया गया था। इस शिविर में किसानों को प्राकृतिक खेती के लाभ और तकनीकी जानकारी प्रदान की गई।
किसानों को मिलने वाले लाभ और सब्सिडी
डॉ. बलजीत लाठर द्वारा किसानों को संबोधित करते हुए बताया गया कि प्राकृतिक खेती करने वाले किसानों को देशी गाय पालने पर 25 हजार रुपए की सब्सिडी दी जा रही है। इसके अलावा, चार ड्रम की खरीद पर 3 हजार रुपए की आर्थिक सहायता भी प्रदान की जा रही है, जो कि प्राकृतिक खेती में उपयोगी साबित होगी।
योग्यता मानदंड और लाभार्थी
इस योजना का लाभ उन किसानों को मिलेगा जिनके पास दो एकड़ या उससे अधिक की खेती की जमीन है। यह योजना खासकर उन किसानों के लिए लाभदायक है जो प्राकृतिक खेती के तरीके अपनाने में रुचि रखते हैं और स्थायी कृषि को बढ़ावा देना चाहते हैं।
प्राकृतिक खेती एक स्थायी विकल्प
प्राकृतिक खेती न केवल पर्यावरण के अनुकूल होती है बल्कि यह किसानों को अधिक पौष्टिक और लाभकारी फसल प्रदान करती है। इस तरह की खेती से मिट्टी की उर्वरता में वृद्धि होती है और रासायनिक खादों और कीटनाशकों का उपयोग कम होता है, जिससे खेती की लागत में कमी आती है और फसलों की गुणवत्ता में सुधार होता है।