SVAMITVA Scheme: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से स्वामित्व योजना के तहत 65 लाख संपत्ति कार्ड वितरित किए. यह पहल ग्रामीण भारत में संपत्ति अधिकार को मजबूत करने और आर्थिक प्रगति को गति देने के लिए शुरू की गई थी. संपत्ति कार्ड वितरण का यह कार्यक्रम देश के 10 राज्यों और 2 केंद्र शासित प्रदेशों के 50,000 से अधिक गांवों में आयोजित किया गया.
स्वामित्व योजना
स्वामित्व योजना (Survey of Villages and Mapping with Improvised Technology in Village Areas) का उद्देश्य ग्रामीण भारत में संपत्ति स्वामित्व को स्पष्ट और सुरक्षित बनाना है. नवीनतम ड्रोन तकनीक का उपयोग कर गांवों में बसे हुए क्षेत्रों का सटीक सर्वेक्षण और मानचित्रण किया जाता है. इस योजना के तहत घरों के मालिकों को कानूनी दस्तावेज प्रदान किए जाते हैं, जिन्हें विभिन्न राज्यों में संपत्ति कार्ड, घरौनी, अधिकार अभिलेख, मालमत्ता पत्रक या आवासीय भूमि पट्टा कहा जाता है.
संपत्ति विवादों में कमी और आर्थिक प्रगति
स्वामित्व योजना ने ग्रामीण क्षेत्रों में संपत्ति विवादों को कम करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है. यह योजना न केवल संपत्ति का कानूनी अधिकार प्रदान करती है, बल्कि संपत्तियों के मुद्रीकरण को भी संभव बनाती है. ग्रामीण परिवार अब इन संपत्ति कार्ड का उपयोग बैंक ऋण लेने और व्यवसाय शुरू करने के लिए कर सकते हैं. इससे ग्रामीण क्षेत्रों में आर्थिक गतिविधियों को बढ़ावा मिल रहा है.
ग्रामीण सशक्तिकरण की ओर कदम
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अवसर पर कहा कि पिछले 5 वर्षों में इस योजना के तहत 1.5 करोड़ से अधिक लोगों को स्वामित्व कार्ड जारी किए जा चुके हैं. अब तक, 2.25 करोड़ से अधिक ग्रामीण परिवारों को उनके घरों के लिए कानूनी दस्तावेज मिले हैं. यह ग्रामीण सशक्तिकरण और समृद्धि लाने की दिशा में एक बड़ा कदम है.
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने की प्रशंसा
महाराष्ट्र के उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने स्वामित्व योजना को “ऐतिहासिक” बताया और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की इस पहल के लिए प्रशंसा की. उन्होंने कहा कि यह योजना ग्रामीण समुदायों को आर्थिक अवसर प्रदान करके उनके उत्थान में मदद करेगी. शिंदे ने यह भी कहा कि इस योजना के तहत लोग संपत्ति कार्ड का उपयोग कर बैंक ऋण ले सकते हैं और अपने व्यवसाय शुरू कर सकते हैं.
संपत्ति कार्ड का महत्व
संपत्ति कार्ड ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के लिए कई लाभ प्रदान करते हैं:
- कानूनी मान्यता: संपत्ति का अधिकारिक दस्तावेज मिलने से लोग अपनी संपत्ति पर कानूनी अधिकार प्राप्त करते हैं.
- आर्थिक सशक्तिकरण: बैंक ऋण लेने में आसानी होती है, जिससे ग्रामीण परिवार अपनी आय के स्रोत बढ़ा सकते हैं.
- विवादों में कमी: संपत्ति स्वामित्व स्पष्ट होने से भूमि और घरों पर विवाद कम होते हैं.
- संपत्ति कर संग्रहण: ग्राम स्तरीय योजना बनाने और संपत्ति कर संग्रहण को सुगम बनाया जा सकता है.
स्वामित्व योजना के तहत भविष्य की योजनाएं
प्रधानमंत्री ने कहा कि यह प्रक्रिया निरंतर चलेगी और भविष्य में और अधिक गांवों और परिवारों को इस योजना का लाभ मिलेगा. सरकार का लक्ष्य है कि ग्रामीण भारत के हर परिवार को उनकी संपत्ति का कानूनी अधिकार प्रदान किया जाए.
ड्रोन तकनीक का उपयोग
स्वामित्व योजना में ड्रोन तकनीक का उपयोग किया जा रहा है, जो गांवों का सटीक और विस्तृत मानचित्रण करने में मदद करता है. यह तकनीक न केवल तेज और सटीक है. बल्कि पारदर्शिता को भी बढ़ावा देती है.
संपत्ति कार्ड वितरण से ग्रामीण विकास को गति
स्वामित्व योजना के तहत संपत्ति कार्ड वितरण से ग्रामीण विकास को गति मिलेगी. इस योजना से न केवल संपत्ति विवाद सुलझेंगे. बल्कि ग्रामीण क्षेत्रों में बेहतर योजनाओं और बुनियादी ढांचे का निर्माण भी होगा.